Mass and Weight

What is called Mass?

द्रब्यमान क्या है?

किसी वस्तु के द्रव्यमान ( mass ) को उस वस्तु में निहित पदार्थ की मात्रा के रूप में परिभाषित किया जाता है।

किसी वस्तु का द्रव्यमान ( mass ) पृथ्वी की सतह पर स्थान परिवर्तन के साथ नहीं बदलता है। यह तभी बदलता है जब वस्तु के किसी हिस्से को उसमें से काट कर हटा लिया जाता है या किसी अन्य भाग को इसमें जोड़ा जाता है।

किसी वस्तु के द्रव्यमान ( mass ) को लीवर संतुलन ( lever balance ) के उपयोग से एक मानक द्रव्यमान ( standard mass ) के साथ तुलना करके मापा जाता है। इसे एक सामान्य संतुलन ( common balance ) के रूप में भी जाना जाता है।

Weight

भार

किसी वस्तु का भार ( weight ), उस वस्तु पर लगता हुआ वह बल है जिस बल से पृथ्वी उस वस्तु को अपने केंद्र की ओर खींचती है।

किसी वस्तु का भार ( weight ) उस वस्तु पर लगते हुए गुरुत्वीय त्वरण ( acceleration due to gravity ) पर निर्भर करता है। इसलिए भार को बल का गुरुत्वाकर्षण की इकाई ( gravitational unit of force ) भी कहा जाता है।

पृथ्वी का गुरुत्वीय त्वरण, पृथ्वी के केंद्र से वस्तु की दूरी तथा पृथ्वी की सतह पर विभिन्न स्थानों के साथ बदलता रहता है। इसलिए किसी वस्तु का भार, पृथ्वी की सतह पर उसकी स्थिति के साथ बदलता है।

स्प्रिंग बैलेंस ( spring balance ) का उपयोग करके किसी वस्तु के भार को मापा जाता है।


Absolute unit of Force

बल की निरपेक्ष इकाई

एक बल, किसी वस्तु के विरामावस्था ( state of rest ) या गति ( motion ) की अवस्था में परिवर्तन लाता है या परिवर्तन लाने की कोशिश करता है। अर्थात, एक बल वस्तु के momentum में बदलाव लाता है।

गति के द्वितीय नियम के अनुसार ( Newton’s second law of motion ), वस्तु पर लगाया गया बल संवेग ( momentum ) में परिवर्तन की दर के समानुपाती होता है।

इसलिए, \quad P \propto \left ( \text {Mass} \ \times \ \text {Acceleration} \right )

यदि ( m ) द्रब्यमान वाले किसी वस्तु पर ( P ) बल लगकर उसमें ( a ) का त्वरण उत्पन्न करता हो तो –

P = k.m.a

यहाँ ( k ) एक समानुपाती नियतांक ( constant of proportionality ) है।

सुविधा के लिए, बल की इकाई को इस प्रकार से चुनते हैं कि, इकाई बल ( unit force ) एक इकाई द्रव्यमान ( unit mass ) के वस्तु में इकाई त्वरण ( unit acceleration ) उत्पन्न करता है।

अर्थात, जब द्रव्यमान ( m = 1 ) और त्वरण ( a = 1 ) होता है, तब ( P = 1 )

अतः \quad k = 1

इसके मान को समीकरण में रखने पर –

P = m.a = \text {Mass} \ \times \ \text {Acceleration}

SI और MKS प्रणाली में बल कि इकाई न्यूटन ( newton ) होती है। इसलिए 1 \ \text {newton ( N )} वह बल है जो इकाई द्रव्यमान के वस्तु में इकाई त्वरण पैदा करता है।

1 \ N = 1 \ kg \times 1 \left ( \frac{ m }{ s^2 } \right ) = 1 \left ( \frac { kg \ m }{ s^2 } \right )


Gravitational unit of Force

बल का गुरुत्वीय इकाई

अधिकांश इंजीनियरिंग के क्षेत्र में बल के गुरुत्वीय इकाई का ( gravitational unit ) उपयोग किया जाता है। हम जानते हैं कि बल की निरपेक्ष इकाई, newton है। एक न्यूटन ( 1 \ N ) वह बल है जो इकाई द्रव्यमान ( 1 \ kg ) के वस्तु में इकाई त्वरण ( 1 \frac {m}{s^{2}} ) पैदा करता है। अर्थात –

1 \ N = 1 kg \times 1 \left ( \frac { m }{ s^2 } \right ) = 1 \left ( \frac { kg \ m }{ s^2 } \right )

यदि वही वस्तु ( 9.81 \frac {m}{s^2} ) के त्वरण से गतिमान हो, तो उसपर लगते हुए बल का मान [ 1 \times 9.81 = 9.81 \ N ] होगा।

चुकीं, पृथ्वी का गुरुत्वीय त्वरण ( g = 9.81 \frac {m}{s^2} ) होता है, अतः ( 1 \ kg ) द्रव्यमान का वस्तु पृथ्वी के केंद्र कि ओर ( 9.81 \frac {m}{s^2} ) के त्वरण से खिंचा जाता है।

ऐसी स्थिति में, पृथ्वी के गुरुत्वाकर्षण खिंचाव ( gravitational pull ) को ( 1 \text {kg-force} ) या ( 1 \text {kg-f} ) कहा जाता है।

परन्तु, वस्तु पर लग रहे गुरुत्वाकर्षण खिंचाव बल को उस वस्तु का भार ( weight ) कहते हैं। अतः ( 1 \text {kg-f} ) के बल को ( 1 \text {kg-wt} ) के रूप में भी दर्शाया जा सकता है।

अर्थात, \quad ( 1 \text {kg-f} ) या ( 1 \text {kg-wt} ) = 1 Kg \times 9.81 \left ( \frac { m }{ s^2 } \right ) = 9.81 \left ( \frac { Kg \ m }{ s^2 } \right ) = 9.81 \ N

इसलिए, बल के गुरुत्वीय इकाई के 1 इकाई का मान, बल के निरपेक्ष इकाई के मान का 9.81 गुना के बराबर होता है।

बल का gravitational unit अर्थात ( 1 \text {kg-f} \ \text {या} \ 1 \text {kg-wt} ) इंजीनियर की इकाई है जबकि  absolute unit अर्थात ( 1 \ N ) एक वैज्ञानिक इकाई है।

गौर करें –

  1. बल की निरपेक्ष इकाई में किसी वस्तु के द्रब्यमान ( mass ) ( \text {m} ) को विवेचित किया जाता है।
  2. बल की गुरुत्वाकर्षण इकाई में उस वस्तु के भार ( weight ) ( \text {mg} ) को विवेचित किया जाता है।

Relation between Mass & Weight

द्रब्यमा और भार में संबन्ध

एक वस्तु पर विचार करें जिसका द्रव्यमान ( m = 100 \ kg ) है। इस वस्तु पर पृथ्वी का खिंचाव बल होगा –

P = \text {द्रव्यमान} \ \times \ \text {त्वरण}

= 100 \ \times \ 9.81 = 981 \ N क्योंकि, \quad \left [ g = 9.81 \left ( \frac {m}{s^2} \right ) \right ]

अब, वस्तु के भार की परिभाषा के अनुसार \quad W = 981 \ N

इसलिए, \quad W = \left ( \frac {981}{9.81} \right ) Kgf = 100 \ Kgf क्योंकि, \quad ( 1 \ Kgf = 9.81 \ N ) ( बल की गुरुत्वाकर्षण इकाई )

गौर करें –

  1. निरपेक्ष इकाई में किसी वस्तु का द्रव्यमान ( mass ) और गुरुत्वीय इकाई में उसी वस्तु का भार ( weight ), संख्यात्मक रूप से समान होते है।
  2. वस्तु के द्रव्यमान को मापने के लिए, हम एक सामान्य संतुलन ( common balance ) का उपयोग करते हैं। इसमें दो पलड़े ( pan ) होते हैं। जिस वस्तु का द्रव्यमान मापना होता है, उसे एक पलड़े पर रखा जाता है और तुलना करने के लिए दूसरे पलड़े पर एक मानक द्रव्यमान standard mass ) को रखा जाता है। यहाँ गुरुत्वाकर्षण के कारण पृथ्वी का गुरुत्वीय त्वरण ( g ), दोनों पलड़ों पर समान रूप से कार्य करता है। इसलिए पृथ्वी के गुरुत्वाकर्षण बल का प्रभाव महत्वपूर्ण नहीं होता है।
  3. किसी वस्तु के भार को स्प्रिंग बैलेंस ( spring balance ) का उपयोग करके मापा जाता है। स्प्रिंग बैलेंस एक स्प्रिंग द्वारा लगाए गए बल पर काम करता है और इसमें केवल एक पलड़ा होता है, जिस पर वस्तु को रखा जाता है या उसे लटका दिया जाता है। इसलिए, पृथ्वी के गुरुत्वीय त्वरण ( g ) का प्रभाव यहाँ बहुत महत्वपूर्ण होता है।